भारत की उन्नति का उपाय क्या है?
भारत की उन्नति का उपाय क्या है? – दूसरों के लिए कर्म काअनुष्ठान या कर्मयोग। आप भी पढ़ें और समझने की कोशिश करे भारत की उन्नति का उपाय।
Read Moreस्वामी विवेकानंद का संपूर्ण साहित्य
भारत की उन्नति का उपाय क्या है? – दूसरों के लिए कर्म काअनुष्ठान या कर्मयोग। आप भी पढ़ें और समझने की कोशिश करे भारत की उन्नति का उपाय।
Read Moreस्थल – बेलुड़ मठ (निर्माण के समय) वर्ष – १८९८ ईसवी विषय – ज्ञानयोग व निर्विकल्प समाधि – सभी लोग
Read Moreशुद्ध ज्ञान व शुद्ध भक्ति एक हैं – पूर्णप्रज्ञ न होने पर प्रेम कीअनुभूति असम्भव है – यथार्थ ज्ञान और भक्ति प्राप्त न हो, तभी तक विवाद है आदि।
Read Moreधर्म प्राप्त करना हो तो गृहस्थ व संन्यासी दोनों के लिएकामकांचन के प्रति आसक्त्ति का त्याग करना एक जैसा ही आवश्यक है -कृपासिद्ध किसे कहते हैं।
Read Moreखाद्याखाद्य का विचार कैसे करना होगा – मांसाहार किसे करना उचित है – भारत के वर्णाश्रम धर्म का किस रूप में फिर से उद्धार होने की आवश्यकता है।
Read Moreस्थान, काल आदि की शुद्धता का विचार कब तक – आत्मा के प्रकट होने के विघ्नों को जो विनष्ट करती है वही साधना है – निष्काम कर्म किये कहते हैं।
Read Moreस्थान – बेलुड़ मठवर्ष – १८९९ ईसवी के प्रारम्भ मेंविषय – स्वामीजी की नागमहाशय से भेंट – आपस में एक
Read Moreस्वामीजी का कलकत्ता जुबिली आर्ट एकेडेमी के अध्यापक श्री रणदाप्रसाद दासगुप्त के साथ शिल्प के सम्बन्ध में वार्तालाप आदि।
Read Moreस्वामीजी का इन्द्रियसंयम, शिष्यप्रेम, रन्धन में कुशलता तथा असाधारण स्मृति – राय गुणाकार भारतचन्द्र व माइकेल मधुसूदन दत्त के सम्बन्ध में राय।
Read Moreभारत की बुरी दशा का कारण – उसे दूर करने का उपाय -वैदिक ढाँचे में देश को फिर से ढालना और मनु, याज्ञवल्कय आदि जैसे मनुष्योंको तैयार करना।
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