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कुशी फिल्म रिव्यू – विजय देवरकोंडा, सामंथा बॉक्स ऑफिस पर मचाएंगे धमाल?

कुशी फिल्म रिव्यू लेकर हम आपके सामने हाजिर हैं। विजय देवरकोंडा और सामंथा रुथ प्रभु की नई फिल्म कुशी सिनेमाघरों में रिलीज हो चुकी है। यह एक बहुप्रतीक्षित तेलुगु फिल्म है।

दरअस्ल, कुशी सन् 2000 में इसी नाम से बनी तमिल फिल्म का रीमेक है। कहानी एक युवा जोड़े की है – विपुलव और आराध्या। विपुलव का किरदार निभावा है विख्यात अभिनेता विजय देवरकोंडा ने और आराध्या की भूमिका को पर्दे पर उतारा है सामंथा रुथ प्रभु ने। फिल्म दोनों की लाइफ की कहानी है जो सभी मुश्किलों के बावजूद प्यार में पड़ जाते हैं।

विपुलव एक आजाद ख्याल नौजवान है जिसे घूमने-फिरने और नई चीजें अनुभव करने का शौक है। दूसरी ओर, आराध्या एक पारंपरिक ब्राह्मण लड़की है जिसका पालन-पोषण एक रूढ़िवादी परिवार में होता है। अपने मतभेदों और अलग-अलग व्यक्तित्वों के बावजूद वे एक-दूसरे के प्रति आकर्षित होते हैं और अंततः शादी कर लेते हैं।

हालाँकि उनकी इस शादी में चुनौतियों की कमी नहीं रहती। उन्हें अपने परिवारों की अस्वीकृति और समाज की अपेक्षाओं से निपटना पड़ता है। लेकिन इस सबके जरिए वे एक-दूसरे से प्यार करते रहना और एक-दूसरे का साथ देना सीखते हैं, चाहे हालात कितने ही मुश्किल क्यों न हों।

यह फिल्म एक रोमांटिक ड्रामा है जो आपको सकारात्मक संदेश भी देती है। कह सकते हैं कि कुशी प्यार, स्वीकृति और बाधाओं पर काबू पाने की कहानी है। मुख्य कलाकारों का अभिनय बेहतरीन है। विजय देवरकोंडा विपुलव के रूप में आकर्षक और करिश्माई हैं, जबकि सामंथा रुथ प्रभु आराध्या के रूप में बेहद सुंदर और भावुक लगी हैं। सहायक कलाकार भी अच्छे हैं, जिनमें नरेश, मुरली शर्मा और लक्ष्मी का विशेष उल्लेख है।

कुशी फिल्म रिव्यू में यह बताना भी जरूरी है कि फिल्म के तकनीकी पहलुओं पर भी अच्छा काम किया गया है। सिनेमैटोग्राफी सुंदर है, जो कश्मीर और गोवा के आश्चर्यजनक दृश्यों को दर्शाती है। संगीत मधुर है और फिल्म पर भावनात्मक प्रभाव डालता है। संपादन सहज है और फिल्म को तेज गति से आगे बढ़ाता है।

कुल मिलाकर कुशी फिल्म रिव्यू करते हुए कह सकते हैं कि यह एक अच्छी फिल्म है जो निश्चित रूप से दर्शकों का मनोरंजन करेगी और उनको बांधे रखेगी। यह एक सकारात्मक संदेश के साथ एक अच्छा रोमांटिक ड्रामा है। मैं विजय देवरकोंडा, सामंथा रुथ प्रभु और रोमांटिक ड्रामा के फैंस को कहूंगा कि इसे देखना न भूलें।

कुशी के लिए मेरी रेटिंग है–

कहानी: ★★★☆☆
प्रदर्शन: ★★★★☆
तकनीकी पहलू: ★★★★☆
कुल मिलाकर: ★★★✬☆

फिल्म कॉमेडी और नाटकीयता को संतुलित करने का अच्छा काम करती है। फिल्म का हास्य स्वाभाविक और समयानुकूल है। हंसी-मजाक के बहुत सारे क्षण हैं, लेकिन फिल्म को कभी भी ऐसा नहीं लगता कि वह मजाकिया बनने के लिए बहुत ज्यादा कोशिश कर रही है। साथ ही फिल्म कुछ गंभीर मुद्दों से भी निपटती है, जैसे परिवार की अस्वीकृति और समाज की अपेक्षाएँ। कुशी मूवी दिखाती है कि चाहे लोग आपके खिलाफ हों या कितनी भी परेशानियों क्यों न हों, सच्चा प्यार उन्हें जीतने में कामयाब हो ही जाता है।

विजय देवरकोंडा और सामंथा के बीच की केमिस्ट्री जबरदस्त है। उनकी ऑनस्क्रीन उपस्थिति शानदार है और उनके किरदारों की प्रेम कहानी असल और दिल छू लेने वाली लगती है।

आखिर में मैं यही कहूंगा कि अगर आप विजय देवरकोंडा व सामंथा रुथ प्रभु को पसंद करते हैं और रोमांटिक ड्रामा देखना आपको अच्छा लगता है, तो यह मूवी देखना न भूलें।

अगर आपको कुशी फिल्म रिव्यू पसंद आया हो तो इसे शेअर करना न भूलें। साथ ही इस मूवी को देखने के बाद आपको कैसा लगा, हमें टिप्पणी करके जरूर बताएँ।

सन्दीप शाह

सन्दीप शाह दिल्ली विश्वविद्यालय से स्नातक हैं। वे तकनीक के माध्यम से हिंदी के प्रचार-प्रसार को लेकर कार्यरत हैं। बचपन से ही जिज्ञासु प्रकृति के रहे सन्दीप तकनीक के नए आयामों को समझने और उनके व्यावहारिक उपयोग को लेकर सदैव उत्सुक रहते हैं। हिंदीपथ के साथ जुड़कर वे तकनीक के माध्यम से हिंदी की उत्तम सामग्री को लोगों तक पहुँचाने के काम में लगे हुए हैं। संदीप का मानना है कि नए माध्यम ही हमें अपनी विरासत के प्रसार में सहायता पहुँचा सकते हैं।

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