धर्म

परमेश्वर स्तोत्र – Parmeshwar Stotram

“परमेश्वर स्तोत्र” यह स्तोत्र भगवान शिव जी को समर्पित है। हर सोमवार को इसके पाठ से दुख और दरिद्रता,शत्रु बाधा दूर होती है। पढ़ें यह अद्भुतपरमेश्वर स्तोत्रम्

जगदीश सुधीश भवेश विभो
परमेश परात्पर पूत पित:।
प्रणतं पतितं हतबुद्धिबलं
जनतारण तारय तापितकम्॥1॥

गुणहीनसुदीनमलीनमतिं
त्वयि पातरि दातरि चापरतिम्।
तमसा रजसावृतवृत्तिमिमं
जनतारण तारय तापितकम्॥2॥

मम जीवनमीनमिमं पतितं
मरुघोरभुवीह सुवीहमहो।
करुणाब्धिचलोर्मिजलानयनं
जनतारण तारय तापितकम्॥3॥

भववारण कारण कर्मततौ
भवसिन्धुजले शिव मग्नमत:।
करुणाञ्च सम‌र्प्य तरिं त्वरितं
जनतारण तारय तापितकम्॥4॥
अतिनाश्य जनुर्मम पुण्यरुचे
दुरितौघभरै: परिपूर्णभुव:।
सुजघन्यमगण्यमपुण्यरुचिं
जनतारण तारय तापितकम्॥5॥

भवकारक नारकहारक हे
भवतारक पातकदारक हे।
हर शङ्कर किङ्करकर्मचयं
जनतारण तारय तापितकम्॥6॥

तृषितश्चिरमस्मि सुधां हित मे-
च्युत चिन्मय देहि वदान्यवर।
अतिमोहवशेन विनष्टकृतं
जनतारण तारय तापितकम्॥7॥

प्रणमामि नमामि नमामि भवं
भवजन्मकृतिप्रणिषूदनकम्।
गुणहीनमतन्तमितं शरणं
जनतारण तारय तापितकम्॥8॥

॥इति परमेश्वरस्तोत्रं सम्पूर्णम् ॥

विदेशों में बसे कुछ हिंदू स्वजनों के आग्रह पर परमेश्वर स्तोत्र को हम रोमन में भी प्रस्तुत कर रहे हैं। हमें आशा है कि वे इससे अवश्य लाभान्वित होंगे। पढ़ें यह परमेश्वर स्तोत्र (Parmeshwar Stotram) रोमन में–

Read Parmeshwar Stotra

jagadīśa sudhīśa bhaveśa vibho
parameśa parātpara pūta pita:।
praṇataṃ patitaṃ hatabuddhibalaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥1॥

guṇahīnasudīnamalīnamatiṃ
tvayi pātari dātari cāparatim।
tamasā rajasāvṛtavṛttimimaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥2॥

mama jīvanamīnamimaṃ patitaṃ
marughorabhuvīha suvīhamaho।
karuṇābdhicalormijalānayanaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥3॥

bhavavāraṇa kāraṇa karmatatau
bhavasindhujale śiva magnamata:।
karuṇāñca sama‌rpya tariṃ tvaritaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥4॥
atināśya janurmama puṇyaruce
duritaughabharai: paripūrṇabhuva:।
sujaghanyamagaṇyamapuṇyaruciṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥5॥

bhavakāraka nārakahāraka he
bhavatāraka pātakadāraka he।
hara śaṅkara kiṅkarakarmacayaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥6॥

tṛṣitaściramasmi sudhāṃ hita me-
cyuta cinmaya dehi vadānyavara।
atimohavaśena vinaṣṭakṛtaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥7॥

praṇamāmi namāmi namāmi bhavaṃ
bhavajanmakṛtipraṇiṣūdanakam।
guṇahīnamatantamitaṃ śaraṇaṃ
janatāraṇa tāraya tāpitakam॥8॥

॥iti parameśvarastotraṃ sampūrṇam ॥

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सन्दीप शाह

सन्दीप शाह दिल्ली विश्वविद्यालय से स्नातक हैं। वे तकनीक के माध्यम से हिंदी के प्रचार-प्रसार को लेकर कार्यरत हैं। बचपन से ही जिज्ञासु प्रकृति के रहे सन्दीप तकनीक के नए आयामों को समझने और उनके व्यावहारिक उपयोग को लेकर सदैव उत्सुक रहते हैं। हिंदीपथ के साथ जुड़कर वे तकनीक के माध्यम से हिंदी की उत्तम सामग्री को लोगों तक पहुँचाने के काम में लगे हुए हैं। संदीप का मानना है कि नए माध्यम ही हमें अपनी विरासत के प्रसार में सहायता पहुँचा सकते हैं।

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