भोले दानी लिरिक्स – Bhole Dani Lyrics
“भोले दानी” के बोल अर्थात् लिरिक्स पढ़ें हिंदी में।लखबीर सिंह लक्खा की मधुर आवाज़ में सजे इस गीत के गीतकार हैं राम लाल शर्मा ने।
दिन और दुखियो के तुम हो सहारे,
सदा अपने भक्तो को भोले उबारे,
भसम भभूति तन पर राजे,
नाग गले में डाले,
पिते हो नित भांग के भर भर,
भोले जी तुम प्याले॥
भोले दानी, रे भोले दानी,
भोले दानी…
भोले निराला,
पिए सदा भंगिया का प्याला,
हे काले काले, रे काले काले,
काले काले सर्पो की माला को,
अपने गले में है डाला,
जो चाहे मांगो जो चाहे लेलो,
हिरा मोती सोना चाँदी,
सब देने वाला,
भोले दानी…
भोले बाबा जी के सब है पुजारी,
नर हो या नारी ये सब संसारी,
दर के भिखारी रे,
सारे भक्तो के हितकारी,
त्रिशूल धारी भोले भंडारी,
नंदी वाले नाग धारि,
अब तक किसी को भी करके निराशा,
उसने कभी अपने दर से ना टाला,
भोले दानी भोले दानी॥
भोले दानी रे भोले दानी,
भोले दानी…
भोले निराला,
पिए सदा भंगिया का प्याला,
हे काले काले, रे काले काले,
काले काले सर्पो की माला को,
अपने गले में है डाला,
जो चाहे मांगो जो चाहे लेलो,
हिरा मोती सोना चाँदी,
सब देने वाला,
भोले दानी…
सबसे बड़े जग में है वही ज्ञानी
भोले वरदानी त्रिशूल पाणी,
शिव औघड़ दानी को,
गाते है सब जिनकी वाणी,
ये जग के प्राणी पंडित और ज्ञानी,
राजा रानी जोगी ध्यानी,
जपता सदा है लख्खा जिनकी माला,
कहलाता है जो शिव डमरू वाला,
भोले दानी…
भोले दानी रे भोले दानी,
भोले दानी…
भोले निराला,
पिए सदा भंगिया का प्याला,
हे काले काले, रे काले काले,
काले काले सर्पो की माला को,
अपने गले में है डाला,
जो चाहे मांगो जो चाहे लेलो,
हिरा मोती सोना चाँदी,
सब देने वाला,
भोले दानी…
विदेशों में बसे कुछ हिंदू स्वजनों के आग्रह पर हम इस भजन को हम रोमन में भी प्रस्तुत कर रहे हैं। हमें आशा है कि वे इससे अवश्य लाभान्वित होंगे। पढ़ें यह शिव भजन रोमन में–
Read Bhole Dani Lyrics
kāśī vāle devaghara vāle bhole ḍamarū dhārī,
khela tere haiṃ nirāle śiva śaṃkara tripurārī…
jayati jayati jaya kaśī vāle, kāśo vāle devaghara vāle,
khela haiṃ tere nātha nirāle, jaya śaṃbhū jaya jaya śaṃbhū…
jo bhī terā dhyāna dhare, usakā sura nara mauna kare,
janama maraṇa se vo ubhare, bhole caraṇa tumhāre jo dharale,
dayā karo viṣa pīne vāle, bhakta jāno ke tuma rakhavāle,
tuma bina naiyā kauna saṃbhāle, jaya śaṃbhū jaya jaya śaṃbhū…
aise ho augaḍa़dānī, dete ho vāra mana mānī,
bhasmāsura thā abhimānī, bhasmasura kī śaitānī,
pāravatī bana viṣṇu āe, dagābāja no maja़ā cakhāe,
bhāṃga dhatūrā āpa te khāe, jaya śaṃbhū jaya, jaya śaṃbhū…
apanī vipadā kise sunāe~, mana meṃ ika āśā haiṃ lalae,
śrī caraṇo kī dhula mile jo naiyana hamāre darśana pāeṃ,
āsa hamārī pūrī karado, merī khālī jholī bharado,
eka naja़ra mujha pe bhī karado, jaya śaṃbhū jaya, jaya śaṃbhū…
jo bhī āyā tere dvāre, jāge usake bhāgya sitāre,
maiṃ śaraṇāgata śaraṇa tihāre, bole śaraṇa tihāre, śaraṇa tihāre,
karū~ nahīṃ koī lākhoṃ ṭāre,
‘śarmā’ ko mata bhūlo svāmī, he kailāśī antaryāmī,
oma namo śiva namo namāmi, jaya śambhū jaya, jaya śambū…