नवग्रह : Navgrah
नवग्रह मनुष्य-जीवन के हर पहलू को प्रभावित करते हैं। शास्त्रों में इन्हें जीव माना गया है। ये मात्र जड़ पिंड नहीं है। नवग्रह जीवंत देव-शक्तियाँ हैं। इन शक्तियों की पूजा व आह्वान का अपना प्रभाव है। वैदिक ज्योतिष के अनुसार जीवन का कोई ऐसा क्षेत्र नहीं, जो इनसे अछूता हो। नव ग्रहों का काम पूर्वकृत कर्मों के अनुसार फल देना है।
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सूर्य देव नवग्रहों में प्रथम हैं। उनकी पूजा, मंत्र जप और उपाय करने से सभी बाधाएँ दूर हो जाती हैं। पढ़ें भगवान सूर्य संबंधी समस्त जानकारियाँ।
चंद्र देव मन और औषधियों के स्वामी हैं। इनका पूजन मनोबल बढ़ाकर हर तरह की सफलता देता है। पढ़ें चंद्र का मंत्र, कथा व उपाय आदि समस्त जानकारियाँ।
मंगल देव की पूजा की पुराणों में बड़ी महिमा बतायी गयी है। यह प्रसन्न होकर मनुष्य की हर प्रकार की इच्छा पूर्ण करते हैं।
बुध भगवान ग्रहों में विद्या-बुद्धि व व्यावहारिकता के स्वामी माने जाते हैं। उनकी उपासना जीवन को सुगम बनाती है। पढ़ें बुध देव संबंधी जानकारियाँ।
बृहस्पति देव बुद्धि और ज्ञान के स्वामी हैं। ये भक्तों पर प्रसन्न हो उन्हें सम्पत्ति व बुद्धि देते हैं और विपत्ति में रक्षा करते हैं।
शुक्र भगवान भक्तों को ऐश्वर्य और धन-धान्य देने वाले हैं। वे औषधियों, मन्त्रों व रसों के भी स्वामी हैं। इनकी सामर्थ्य अद्भुत है।
शनि देव राजा को रंक और रंक को राजा बनाने की सामर्थ्य रखते हैं। पढ़ें शनि महाराज की शांति के उपाय, मंत्र तथा कथा आदि समस्त उपयोगी जानकारियाँ।
राहु ग्रह को कार्य-सिद्धि में बाधा पैदा करने वाला व दुर्घटनाओं का यह जनक माना जाता है। पढ़ें राहु की शांति का उपाय, मंत्र व अन्य जानकारियाँ।
केतु ग्रह अनिष्टकारी होने से व्यक्ति रोगी होता है। इसकी प्रतिकूलता से दाद-खाज व कुष्ठ जैसे रोग होते हैं। जानें केतु की शांति के उपाय।
ज्योतिष में अरुण, वरुण और यम अर्थात यूरेनस, नेप्च्यून और प्लूटो को ग्रह नहीं माना जाता है। वस्तुतः ज्योतिष और खगोल विज्ञान के अनुसार ग्रहों की परिभाषा भिन्न-भिन्न है। खगोल शास्त्र में ग्रह केवल आकाशीय पिण्ड हैं। वैदिक ज्योतिष में नवग्रह देवता हैं। इनके अपने यंत्र, मंत्र, दान और पूजा आदि होते हैं, जिनसे ये तुष्ट या प्रसन्न होते हैं। सभी नौ ग्रहों की शांति के लिए नवग्रह चालीसा पढ़ने का भी विधान है। यहाँ विस्तार से जानें नवग्रह संबंधी सभी जानकारियाँ हिंदी में और डाउनलोड करें नवग्रह फोटो और चित्र इत्यादि।
भारतीय ज्योतिष और पौराणिक कथाओं की मानें तो ब्रह्माण्ड में कुल 9 ग्रह हैं। नवग्रह की कहानी के अनुसार ग्रहों के नाम इस प्रकार हैं – सूर्य, चंद्र, मंगल, बुध, बृहस्पति, शुक्र, शनि, राहु और केतु। Navgrah Ki Kahani पढ़कर आप ये जानेंगे की हर एक ग्रह की अलग कहानी है। और तो और हर एक ग्रह का मानव जीवन पर भिन्न-भिन्न अच्छा और बुरा असर होता है। Navgrah Ki Katha से हमको हर एक ग्रह का मनुष्य के जीवन पर क्या असर होता है, ये भी पता चलता है। हिन्दू मान्यता के अनुसार कथा या पूजा के वक़्त नवग्रह की पूजा करने का भी महत्व है। इससे बुरे ग्रहों को अपने अनुकूल किया जा सकता है। पूजा के लिए आप नवग्रह यंत्र फोटो का भी इस्तेमाल कर सकते है। यंत्र की फोटो किसी भी पूजा पाठ की दुकान में आसानी से मिल जाता है। Navgrah Image को गूगल से भी डाउनलोड किया जा सकता है।
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