धर्म

सन्यासी – Sanyasi Lyrics In Hindi – Hansraj Raghuwanshi

कोई कहे कैलाश के तुम हो वासी
कोई कहे तुम रहते हो काशी
हिमाचल की बेटी गौरा तेरी साथी
रहते हो कहाँ सन्यासी
कोई कहे कैलाश के तुम हो वासी
कोई कहे तुम रहते हो काशी
चंदन चढ़े तोहे
धतूरा चढ़े तोहे
चढ़े बेल-पत्र दूध की धारा, ओ देवा

इक हाथ त्रिशूल तेरे
इक हाथ डमरू बोले
जटाओं से बहे गंगा धारा, ओ देवा
कोई कहे कैलाश के तुम हो वासी
कोई कहे तुम रहते हो काशी

खुद तूने विष पिया
ऑरो को अमृत बाँट के
नीलकंठ तबसे तू कहलाया, ओ भोले
धरती अंबर पाताल
अब है तेरे महाकाल
रघुवंशी करे तेरी पूजा, ओ देवा
कोई कहे कैलाश के तुम हो वासी
कोई कहे तुम रहते हो काशी

विदेशों में बसे कुछ हिंदू स्वजनों के आग्रह पर यह सन्यासी भजन को हम रोमन में भी प्रस्तुत कर रहे हैं। हमें आशा है कि वे इससे अवश्य लाभान्वित होंगे। पढ़ें यह भजन रोमन में–

Sanyasi Bhajan Lyrics

koī kahe kailāśa ke tuma ho vāsī
koī kahe tuma rahate ho kāśī
himācala kī beṭī gaurā terī sāthī
rahate ho kahā~ sanyāsī
koī kahe kailāśa ke tuma ho vāsī
koī kahe tuma rahate ho kāśī
caṃdana caḍha़e tohe
dhatūrā caḍha़e tohe
caḍha़e bela-patra dūdha kī dhārā, o devā

ika hātha triśūla tere
ika hātha ḍamarū bole
jaṭāoṃ se bahe gaṃgā dhārā, o devā
koī kahe kailāśa ke tuma ho vāsī
koī kahe tuma rahate ho kāśī

khuda tūne viṣa piyā
ऑro ko amṛta bā~ṭa ke
nīlakaṃṭha tabase tū kahalāyā, o bhole
dharatī aṃbara pātāla
aba hai tere mahākāla
raghuvaṃśī kare terī pūjā, o devā
koī kahe kailāśa ke tuma ho vāsī
koī kahe tuma rahate ho kāśī

शिवरात्रि की आरतीकेदारनाथ की आरतीसोमवार व्रत कथासोलह सोमवार व्रत कथासोम प्रदोष व्रत कथामेरा भोला है भंडारीआज सोमवार हैलागी लगन शंकराशिव से मिलना हैहर हर शंभू शिव महादेवाशिव समा रहे मुझमेंनमो नमो जी शंकरागंगा किनारे चले जानापार्वती बोली शंकर सेजय हो भोलेसब कुछ मिला रे भोलेमहाकाल की महाकालीशिव शंकर को जिसने पूजासुबह सुबह ले शिव का नामशंकर मेरा प्यारासज रहे भोले बाबा निराले दूल्हे मेंभोला भांग तुम्हारी मैं घोटत घोटत हारीशिवजी बिहाने चलेधुडु नचेयासब देव चले महादेव चलेसब कुछ मिला रे भोलाशंकर मेरा प्याराएक दिन वह भोले भंडारीहर हर महादेव शिवायआग लगे चाहे बस्ती मेंबोलो हर हर महादेवमेरा शिव सन्यासी हो गयाएक दिन मैया पार्वतीमैं शिव का हूं शिव मेरे हैंअमरनाथ मंदिरमेरे शंभू मेरे संग रहनानमो नमोबम लहरीओम शिवोहम

सन्दीप शाह

सन्दीप शाह दिल्ली विश्वविद्यालय से स्नातक हैं। वे तकनीक के माध्यम से हिंदी के प्रचार-प्रसार को लेकर कार्यरत हैं। बचपन से ही जिज्ञासु प्रकृति के रहे सन्दीप तकनीक के नए आयामों को समझने और उनके व्यावहारिक उपयोग को लेकर सदैव उत्सुक रहते हैं। हिंदीपथ के साथ जुड़कर वे तकनीक के माध्यम से हिंदी की उत्तम सामग्री को लोगों तक पहुँचाने के काम में लगे हुए हैं। संदीप का मानना है कि नए माध्यम ही हमें अपनी विरासत के प्रसार में सहायता पहुँचा सकते हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

हिंदी पथ
error: यह सामग्री सुरक्षित है !!